POK : पत्रकार और कवि अहमद फरहद शाह मामले में शुक्रवार को इस्लामाबाद हाई कोर्ट में सुनवाई हुई। सुनवाई के दौरान पाकिस्तान सरकार की ओर से पेश हुए वकील ने पीओके को पाकिस्तान का हिस्सा ना बताते हुए विदेशी क्षेत्र कहकर संबोधित किया। अहमद फरहद शाह के वकीलों ने अदालत के बाहर मीडिया के साथ बातचीत में यह जानकारी दी।
इस्लामाबाद। पाकिस्तान ने अंततः अपनी ही एक अदालत में कबूल कर लिया कि उसके कब्जे वाला कश्मीर (POK) उसका क्षेत्र न होकर एक “विदेशी क्षेत्र” है। दरअसल, फेडरल प्रॉसिक्यूटर जनरल (सरकारी वकील) इस्लामाबाद से अगवा किए गए पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (POK) के कवि और पत्रकार अहमद फरहद शाह को लेकर सरकार का बचाव कर रहे थे, तभी उन्होंने कहा कि वह (अहमद फरहद शाह) आजाद कश्मीर में 2 जून तक रिमांड पर रहेंगे। सरकारी वकील ने कहा कि उसे (अहमद फरहद शाह) इस्लामाबाद की अदालत के सामने पेश नहीं किया जा सकता क्योंकि आजाद कश्मीर (Azad Kashmi) हमारा नहीं बल्कि एक विदेशी क्षेत्र है।
अहमद फरहद शाह करीब दो सप्ताह पहले गायब हो गए थे। उनकी गुमशुदगी पर परिवारीजन अदालत पहुंचे तो पता चला कि वह पुलिस की कस्टडी में हैं। इसके बाद उनके परिवारीजनों ने इस्लामाबाद हाई कोर्ट का रुख किया। इस मामले में शुक्रवार को इस्लामाबाद हाई कोर्ट में सुनवाई हुई। सुनवाई के दौरान सरकार की ओर से पेश हुए वकील ने पीओके को पाकिस्तान का हिस्सा ना बताते हुए विदेशी क्षेत्र कहकर संबोधित किया। अहमद फरहद शाह के वकीलों ने अदालत के बाहर मीडिया के साथ बातचीत में यह जानकारी दी।
अहमद फरहद शाह की गुमशुदगी पर कोर्ट में पिटीशन दाखिल करने वाली ईमान माजरी ने कहा, अहमद कश्मीर में ही हैं यह पुलिस की ओर से अदालत में बताया गया है। इसके साथ ही एक और दिलचस्प बात अदालत में हुई है। सरकार की ओर से पेश हुए वकील ने कश्मीर को विदेशी जमीन कहा है जो कि एक अच्छा प्रभाव नहीं छोड़ता है। हमें कश्मीरियों को यह नहीं कहना चाहिए कि वे हमारे से अलग हैं। ये ऐसी बात है जो नहीं कही जानी चाहिए थी।
हाईकोर्ट ने भी किया सवाल
हाई कोर्ट भी सरकारी वकील के दावे पर हैरान हुआ और उसने कहा कि अगर आजाद कश्मीर एक विदेशी क्षेत्र है, तो फिर पाकिस्तानी रेंजर्स यहां पाकिस्तान से कैसे प्रवेश कर गए।
14 मई को लापता हो गए थे अहमद फरहद शाह
गौरतलब है कि पीओके में आम लोगों के हकों और फौज के खिलाफ आवाज उठाने वाले कवि अहमद फरहद 14 मई को इस्लामाबाद से लापता हो गए थे। अहमद के परिवार वालों ने दावा किया था कि सरकार की आलोचना करने की वजह से पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई ने उनको गायब किया है। अहमद की पत्नी उरूज ने कहा था कि 14 मई को देर रात चार लोग अहमद को एक कार में बैठाकर ले गए थे। इस्लामाबाद की अदालत के दखल के बाद उनके कश्मीर पुलिस की कस्टडी में होने की बात सामने आई है।
मशहूर पत्रकार ने जताई नाराजगी
सरकार वकील के अदालत में इस कबूलनामे पर पाकिस्तान के मशहूर पत्रकार हामिद मीर (Hamid Mir) ने नाराजगी जताई है। उन्होंने कहा कि यह दावा न्यायिक प्रणाली और आजाद कश्मीर की स्थिति पर कई सवाल खड़े कर रहा है। उन्होंने कहा कि अगर आजाद कश्मीर हमारा नहीं है तो पाकिस्तान को एक विदेशी क्षेत्र में सैनिकों की तैनाती और प्रशासन का अधिकार कैसे मिला।
पीओके के लोग भी कहते रहे हैं पाकिस्तान से अलग होने की बात
पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (POK) के लोग भी ये कहते रहे हैं कि पाकिस्तान के संविधान के हिसाब से वह पाकिस्तान का हिस्सा नहीं है। यह बात POK के प्रदर्शनों में अक्सर दोहराई गई है। वहीं भारत ने बार-बार कहा है कि पीओके (PoK) उसका हिस्सा है। अब पाकिस्तान ने भी पीओके को कोर्ट में विदेश मान लिया है।