झारखण्ड : सादे भोजन की परम्परा
झारखण्ड के पारम्परिक भोजन में मुख्य रूप से रागी या गेहूं के आटे की रोटी, भात, दाल, चोखा, सब्जी, दाल, घुगनी, चटनी, अचार, पापड़ और घी शामिल होता है। अनुवन्दना…
झारखण्ड के पारम्परिक भोजन में मुख्य रूप से रागी या गेहूं के आटे की रोटी, भात, दाल, चोखा, सब्जी, दाल, घुगनी, चटनी, अचार, पापड़ और घी शामिल होता है। अनुवन्दना…
सौराष्ट्र के कई व्यंजनों को बनाने में चाने की दाल और बेसन का इस्तेमाल किया जाता है। यहां की थाली में आमतौर पर गेहूं अथवा बाजरे की रोटी होती है।…
शस्य श्यामला मालवा की धरती के वाशिन्दे मुख्यतः शाकाहारी हैं। मालवा के मालपुए प्रसिद्ध हैं। राजा भोज ने “श्रृंगार प्रकाश” में अवन्ति (उज्जैन) के अपूप या मालपुए की प्रसिद्धि की…
असम प्रचीन काल से ही सनातन धर्म का प्रमुख केन्द्र रहा है जिस कारण यहां गोरूर पायस समेत तरह-तरह के शाकाहारी व्यंजन बनाने की कला विकसित हुई। चावल यहां का…
ओडिशा के लोग कद्दू, कच्चा पपीता, आलू, बैगन, पालक, टमाटर आदि के दीवाने हैं। हालांकि झींगा और मछली की तरह-तरह की डिश भी मिलती हैं। अनुवन्दना माहेश्वरी भारत की भोजन…
आयुर्वेद में अतिबला के चूर्ण को बड़ा महत्व दिया जाता है। यह कई पौष्टिक गुणों से भरपूर होता है जो हमारे शरीर में कई तरह के सूक्ष्म तत्वों की कमी…
न्यूज हवेली नेटवर्क दक्षिण भारत के तमिलनाडु, आन्ध्र प्रदेश और केरल की तरह कर्नाटक के पकवान भी दुनियाभर में प्रसिद्ध हैं, हालांकि यहां तीखे मसालों का इस्तेमाल अपेक्षाकृत कम होता…
अथर्ववेद में अपामार्ग समेत 288 जड़ी-बूटियों का उल्लेख है। ऋग्वेद में 67 और यजुर्वेद में 82 जड़ी-बूटियों का उल्लेख मिलता है। पंकज गंगवार जब भी मेरे पास कुछ अतिरिक्त समय…
बंगालियों को सरसों के तेल से तैयार भोजन ही रास आता है। कद्दू, गोभी जैसी सब्जियां हों या मछलियों की तरह-तरह की डिश, इनमें सरसों के तेल का ही इस्तेमाल…
केरल में स्वादिष्ट शाकाहारी व्यंजनों की लम्बी श्रृंखला है तो समुद्र तटीय राज्य होने की वजह से मछली, झींगा और केकड़े के भी तरह-तरह के व्यंजन बनाये जाते हैं। केरल…